बचा सको तो बचा लो अपने पुरातत्त्व को

बचा सको तो बचा लो अपने पुरातत्त्व को


बचा सको तो बचा लो अपने खण्दारगिरि, चंदेरी (म.प्र.) की पहाड़ी की अविच्छिन्न शिला पर उत्कीर्णित भारत की सबसे अनूठी बाहूबली भगवान की प्रतिमा, जिसपर पैरों पर बेलें नहीं बल्कि सर्प चढ़े हुए अंकित है, हाथों पर गोह, छिपकलियाँ, अन्य शरीर पर बंदर व अन्य जीव भी चिपके हुए उत्कीर्णित हैं। वक्ष पर बिना पत्र की बेलें, कांख के बाल उत्कीर्णित हैं। जिस तरह वहां की सबसे बड़ी बड़ी ४६ फुट उत्तुंग प्रतिमा तोड़ी गयी है, हो सकता है इन प्रतिमाओं के दर्शन भी आगामी किसी कालंड में न मिल पाएं।